BeyondHeadlines News Desk
लखनऊ : रिहाई मंच 6 साल पहले 16 दिसंबर को मरहूम मौलाना खालिद की अवैध गिरफ्तारी के दिन को ‘अवैध गिरफ्तारी विरोध दिवस’ के बतौर कल दिन में 12 बजे, रिहाई मंच के लाटूश रोड स्थित कार्यालय पर मनाते हुए अवैध गिरफ्तारियों के खिलाफ अपने संघर्ष को तेज़ करने की रणनीति बनाएगा.
मंच की तरफ से जारी बयान में मंच के अध्यक्ष मोहम्मद शुऐब ने कहा कि 16 दिसंबर के दिन ही मरहूम मौलाना खालिद को मडि़याहूं से एसटीएफ ने अगवा करके 22 दिसंबर को बारांबकी से झूठी बरामदगी का दावा करते हुए आतंकवाद के झूठे मामले में फंसाया था जिसकी तस्दीक निमेष कमीशन रिपोर्ट ने भी की है.
इसी तरह तारिक़ कासमी को भी 12 दिसंबर को आज़मगढ़ से एसटीएफ ने अगवा करके मौलाना खालिद के साथ ही तारिक की भी गिरफ्तारी दिखाई थी. कचहरी धमाकों के मामले में जहां कोलकाता के आफताब अंसारी बरी हो चुके हैं तो वहीं जम्मू-कश्मीर के सज्जादुर्रहमान वानी को लखनऊ अदालत ने बरी कर दिया है, और खालिद-तारिक़ की बेगुनाही का सबूत निमेष कमीशन रिपोर्ट है, जिस पर अमल करने से अखिलेश सरकार भाग रही है और उसके इस रवैए की वजह से सिर्फ इस मामले में जहां मरहूम मौलाना खालिद की आईबी और एसटीएफ ने हत्या करवा दी तो वहीं आज भी तारिक़ कासमी, सज्जादुर्रहमान, अख्तर वानी जैसे नौजवान जेलों में रहने को अभिशप्त हैं.
रिहाई मंच के अध्यक्ष मोहम्मद शुएब ने कहा कि कल के दिन को हम ‘अवैध गिरफ्तारी विरोध दिवस’ के रुप में मनाते हुए देश में हो रही ऐसी तमाम गिरफ्तारियों का विरोध करेंगे और ऐसे में मौलाना खालिद जिनकी हत्या सपा राज में आईबी और एसटीएफ वालों ने की है, के गिरफ्तारी के दिन 16 दिसंबर को इस साल से हम ‘अवैध गिरफ्तारी विरोध दिवस’ के रुप में मनाते हुए बेगुनाहों की रिहाई की लड़ाई को तेज करने का संकल्प लेंगे. सभी इंसाफ पसन्द अवाम से अपील है कि इस मुहीम में शामिल हों.