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सुनियोजित था छपरा में विसर्जन के दौरान उपद्रव

BeyondHeadlines News Desk

सोमवार की सुबह 3:30 बजे… छपरा का पंकज सिनेमा रोड… ‘मां’ के भक्त डीजे पर बज रहे गानों पर पूरी फूहड़ता से डांस करते हुए… 4:00 बजे प्रशासन इन्हें थाना चौक के पास रोकती है…. डीजे बंद करने का अनुरोध करती है… लेकिन लोग प्रशासन के इस बात को मानने को तैयार नहीं…

फिर अचानक बजरंग दल के कार्यकर्ता हथियार के साथ इस भीड़ में शामिल हो जाते हैं… सड़कों पर लगे सीएम के पोस्टरों का फाड़ना आरंभ कर दिया जाता है… फिर यह भीड़ और हिंसक हो उठती है… नगरपालिका चौक पर तोड़फोड़ शुरू कर देती है…

पुलिस बजरंग दल के इन कार्यकर्ताओं पर लाठी चार्च करती है… बदले में यह कार्यकर्ता पुलिस पर पत्थर व पेट्रॉल बम से हमला कर देते हैं… अब इनसे निपटने के लिए पुलिस आंसू गैस के गोले छोड़ती है…. हवाई फायरिंग करती है… लेकिन इस हिसंक भीड़ पर कोई फर्क नहीं पड़ता है…

सरकारी वाहनों और जेसीबी व ट्रैक्टर में आग लगा दी जाती है… बीएसएनएल परिसर में भी यह उपद्रवी जमकर उत्पात मचाते हैं…. यहां रखे वाहनों व जनरेटरों को आग के हवाले कर दिया जाता है… टेलीफोन केबल को भी नहीं छोड़ा जाता है… टेलीफोन एक्सचेंज में निचले तल पर रखे गए फर्नीचर भी जला देते हैं…

डीएम के तीन बॉडीगार्ड समेत कई मीडियाकर्मी, सामाजिक कार्यकर्ता और आम लोग घायल हो जाते हैं… पेट्रॉल बम के हमले से डीएम कुंदन कुमार व एसपी विनय कुमार भी बाल-बाल बचे…

थाना चौक-पंकज सिनेमा रोड और थाना चौक-साहेबगंज रोड पर केवल ईंट-पत्थर के टुकड़े ही बिखरे दिख रहे थे… कलेक्ट्रेट रोड में भी पथराव किया गया… कुछ ही देर में शहर के अधिकांश हिस्सों में उपद्रव की लपट पहुंच गई थी… जगह-जगह रोड जाम के साथ ही आगजनी होने लगी थी… नगर थाना चौक से दक्षिण पंकज सिनेमा रोड, पूरब साहेबगंज स्थित सड़क तथा नगर थाना चौक से होते हुए नगरपालिका चौक पर जानेवाली सड़कें छह घंटे तक उपद्रवियों के कब्जे में रहीं… असामाजिक तत्व पुलिस पर भारी पड़ते दिखे, कई बार पुलिस को भाग खड़ा होना पड़ा…

इस पूरे घटनाक्रम को यदि आप गौर से देखें तो यह सारा उपद्रव सुनियोजित लगेगा. इन उपद्रवियों का मक़सद शहर का सांप्रदायिक माहौल खराब करना था, जिसे यहां की स्थानीय प्रशासन ने कामयाब होने नहीं दिया.

‘असामाजिक तत्वों ने सुनियोजित साजिश के तहत प्रशासन के सारे प्रयासों के बावजूद घटना को अंजाम दिया. एक बड़ी घटना को अंजाम देने से रोकने के प्रयास में ही यह घटना हुई.’ -डीएम कुंदन कुमार

इस सुनियोजित उपद्रव की पुष्टि खुद डीएम कुंदन कुमार भी करते हैं. मीडिया को दिए अपने बयान में उन्होंने बताया कि ‘असामाजिक तत्वों ने सुनियोजित साजिश के तहत प्रशासन के सारे प्रयासों के बावजूद घटना को अंजाम दिया. एक बड़ी घटना को अंजाम देने से रोकने के प्रयास में ही यह घटना हुई.’

वो आगे बताते हैं कि ‘कुछ असामाजिक तत्वों ने जानबूझकर प्रतिमा विसर्जन में विलंब किया और सरकारी आदेश की अवहेलना की. तेज़ आवाज़ में डीजे बजाया जा रहा था. प्रशासन की ओर से ऐसा नहीं करने का अनुरोध किया गया तो पुलिस पर रोड़बाज़ी शुरू कर दी गई. इस पूरे मामले की प्रशासनिक जांच होगी.’

वहीं एसपी विनय कुमार का भी कहना है कि ‘असामाजिक तत्वों ने योजना के तहत ही स्थिति को असामान्य बनाने की साज़िश रची थी. पूरे दिन प्रशासन के धैर्य की परीक्षा रही. आमजनों को अफवाहों से बचने और शांति बहाली में सहयोग की ज़रूरत है.’

आखिर क्यों शुरू हुआ बवाल?

प्रतिमाओं के विसर्जन का सिलसिला रविवार की रात करीब नौ बजे से ही शुरू हुआ था. प्रशासन इन्हें चार बजे सुबह विसर्जन पूरा कर लेने का सरकारी आदेश जारी कर चुकी थी. दौलतगंज समेत उस इलाके की चार प्रतिमाएं सोमवार की तड़के करीब चार बजे नगर थाना चौक के पास पहुंची तो प्रशासन ने यह कहते हुए जूलूस आगे बढ़ने से रोक दिया कि विसर्जन का निर्धारित समय समाप्त हो चुका है.

फिर थोड़ी देर बाद डीजे बजाने पर पाबंदी की बात कहते हुए प्रशासन की ओर से प्रस्ताव रखा गया कि यदि डीजे नहीं बजेगा तो जूलूस को आगे ले जाने दिया जायेगा. प्रशासन की इस शर्त पर पूजा समितियों से जुड़े लोग राजी नहीं हुए. कुछ लोगों की पुलिस प्रशासन से झड़प भी हुई. इसी बात पर कुछ लोगों को हिरासत में लिया गया. फिर बजरंग दल के कार्यकर्ता हरवा-हथियार के साथ पहुंच गए और फिर जो हुआ वो सबके सामने है.

दरअसल, सुबह में बकरीद की नमाज़ होनी है. प्रशासन की सोच थी कि बकरीद की नमाज़ नौ बजे तक संपन्न हो जाने पर जूलूस ले जाने दिया जायेगा. या फिर यह लोग बगैर डीजे के शांति के साथ विसर्जन कर सकते हैं. लेकिन कुछ उपद्वी लोगों ने पुलिस की इस बात को मानने से इंकार कर दिया.

पहले से थी माहौल बिगाड़ने की तैयारी

सुत्र बताते हैं कि शहर का सांप्रदायिक माहौल बिगाड़ने की तैयारी पहले से थी. पहले से ही पेट्रॉल बन तैयार किया गया था. यही नहीं, शहर में टेंशन बढ़ने के पीछे एक सीडी की भी खासी चर्चा  था, जिसको लेकर शहर में पिछले दो-तीन दिनों से टेंशन बढ़ा हुआ था.

इस चर्चित सीडी में पाकिस्तान को टारगेट कर कुछ उत्तेजित करने वाले तथ्य होने की बात कभी कही जा रही है. प्रशासन का कहना था कि आखिर यह सीडी सभी पूजा पंडालों में कैसे पहुंच गई? जाहिर है कि कुछ लोग तनाव की साजिश रच रहे थे. प्रशासन ने इसी सीडी की वजह से डीजे पर पाबंदी लगाने का निर्णय लिया था.

कायम रहा सौहार्द

शहर में अशांति के बावजूद समुदायों के बीच शांति बनी रही. दोनों समुदायों ने मिलकर सौहार्द का परिचय दिया और दोनों ही पक्षों ने उपद्रवी तत्वों की हरकतों पर नाराज़गी जाहिर की. शहर में अमन कायम करने के लिए विभिन्न पूजा समितियों के प्रतिनिधियों ने पहल की और शहर में घूम-घूम कर लोगों से शांति बनाये रखने की अपील की.

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