BeyondHeadlines Correspondent
मुज़फ्फरपूर शहर से तकरीबन 40 किलोमीटर दूर ज़िला के सरैया थाना में अज़ीज़पूर कोठी गांव में एक नौजवान की लाश मिलने के बाद भीड़ ने कई घरों को आग के हवाले कर दिया.
दरअसल, यह मामला मुसलमान लड़की और हिंदू लड़के के बीच प्रेम प्रसंग से जुड़ा है. बताया जाता है कि भारतेंदु साहनी नाम का लड़का 9 जनवरी से गायब था. इस लड़के के गुमशुदगी की रिपोर्ट 11 जनवरी को स्थानीय सरैया थाना में दर्ज करवाया गया था. भारतेन्दू एल.एस. कॉलेज में स्नातक पार्ट वन का छात्र था. इस एफआईआर में वसी अहमद का बेटा सदाक़त अली उर्फ विक्की को नामज़द किया गया था. विक्की लड़की का भाई है.
इसी बीच रविवार को स्थानीय लोगों ने भारतेन्दू की लाश अज़ीज़पूर गांव में एक गेंहू के खेत में दबा हुआ देखा. इसकी खबर पूरे इलाके में आग की तरह फैल गई. और खबर फैलते ही कुछ असामाजिक तत्वों ने इसे साम्प्रदायिक रंग दे दिया. देखते ही देखते पूरे गांव को आग के हवाले कर दिया गया. स्थानीय पुलिस भी इनके सामने बेबस नज़र आई. दंगाई का नंगा नाच चलता रहा. भीड़ ने दर्जनों मोटरसाईकिल, एक मारूती व ट्रैक्टर को भी आग के हवाले कर दिया. इस दौरान हिंसक झड़प व आगजनी में तीन लोगों की मौत हो गयी. कई गंभीर रूप से घायल हो गये.
कुछ देर बाद डीएम, एसपी और अन्य अधिकारी भी पहुंच गए. दंगाईयों ने इन्हें भी रास्ते में रोकने की कोशिश की. आग बुझाने वाली गाड़ी को भी भीड़ रोके रखा. जब तक पूरा गांव खाक हो चुका था.
इस मामले में 14 लोगों को गिरफ़्तार किया गया है. क़ानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए पड़ोसी ज़िलों से भी सुरक्षा कर्मियों को बुला लिया गया है. स्थिति को नियंत्रण में करने के लिए पुलिस और जिला प्रशासन के आला अधिकारी गाँव में कैम्प कर रहे हैं.
बिहार सरकार की ओर से गृह सचिव सुधीर कुमार और एडीजी पुलिस मुख्यालय गुप्तेश्वर पांडेय के नेतृत्व में जांच कमेटी गठित कर दी गई है. साथ ही मुख्यमंत्री ने घटना में मारे गये लोगों के परिजनों को पांच-पांच लाख रुपये और घायलों को 50-50 हजार रुपये का मुआवजा देने का एलान किया है. साथ ही सरकारी खर्च पर सभी घायलों का इलाज और जले सभी घरों का पुनर्निर्माण कराने की भी घोषणा की है. मुख्यमंत्री ने घटना को दुर्भाग्यपूर्ण बताया. उन्होंने दोषियों पर कड़ी कार्रवाई करने का निर्देश दिया. उन्होंने लोगों से अपील की कि वे अफवाहों में न आएं. प्रशासन विधिसम्मत कार्रवाई करेगा. क्षेत्र में शांति-व्यवस्था कायम रखने के लिए सभी का सहयोग आवश्यक है. मुख्यमंत्री ने जिले के सभी मंत्रियों रमई राम, डॉ महाचंद्र प्रसाद सिंह, मनोज कुमार सिंह और अन्य जनप्रतिनिधियों से मुंबई से ही फोन पर बात की और पूरे मामले की जानकारी ली. साथ ही उन्हें घटनास्थल का दौरा कर अमन-चैन स्थापित करवाने में सहयोग करने का भी निर्देश दिया.
इस बीच खबर है कि मुख्यमंत्री जीतन राम माझी अपने दिल्ली और मुंबई दौरे को बीच में ही छोडकर पटना लौट चुके हैं. ऐसी संभावना है कि वह घटनास्थल के दौरे में जा सकते हैं. हालांकि अभी आधिकारिक रुप से इसकी जानकारी नहीं दी गयी है.