BeyondHeadlines News Desk
नई दिल्ली: देश की तथाकथित मेनस्ट्रीम मीडिया और एक ख़ास तबक़ा द्वारा सोशल मीडिया में इस बात को प्रचारित किया जा रहा है कि जामिया मिल्लिया इस्लामिया में आर्थिक रूप से पिछड़े सवर्णों को 10 फ़ीसदी का लाभ नहीं मिलेगा. जबकि सच्चाई ये है कि सिर्फ़ जामिया में ही नहीं, बल्कि देश के सैकड़ों संस्थानों में ये आरक्षण लागू नहीं होगा.
बता दें कि मानव संसाधन विकास मंत्रालय की ओर से 17 जनवरी को 10 फ़ीसद आरक्षण संबंधी पत्र जारी किया गया था. इसके दूसरे पैराग्राफ़ के बी बिन्दू में कहा गया है कि 8 इंस्टीट्यूट्स ऑफ एक्सीलेंस, शोध संस्थान, इंस्टीट्यूट ऑफ़ नेशनल एंड स्ट्रेटिजिक इंपोर्टस सहित अल्पसंख्यक संस्थानों को इसके लिए छूट दी गई है. इसलिए इन्हें केन्द्रीय शैक्षणिक संस्थान (प्रवेश में आरक्षण) अधिनियम -2006 और अनुच्छेद -30 (1) के तहत इन्हें बाहर रखा गया है. यानी इन तमाम संस्थानों में आर्थिक रूप से पिछड़े सवर्णों को आरक्षण का लाभ नहीं मिलेगा.